बेमौसम बारिश ने एक बार फिर किसानों की मेहनत पर पानी फेर दिया। बरेली में चार दिन से मंडरा रहे बादल सोमवार को बरस पड़े। दिन में रिमझिम बौछार हुई तो रात में झमाझम बारिश शुरू हो गई। बारिश का सिलसिला मंगलवार सुबह 10 बजे तक जारी रहा। गरज-चमक के साथ कभी हल्की तो कभी तेज बारिश होती रही। आसमान में बादल छाए हुए हैं। बेमौसम बारिश से फसलों को काफी नुकसान हुआ है। 

खेतों में गेहूं की फसल गिर गई है। सरसों की फसल को भी नुकसान हुआ है। खेतों में पानी भर गया है, जिससे कटी फसल खराब हो सकती है। बरेली के आंचलिक मौसम अनुसंधान केंद्र के मुताबिक रविवार रात से ही शहर में निम्न वायुदाब का क्षेत्र बनने लगा था। सोमवार को दिन में कहीं हल्की तो कहीं मध्यम बारिश हुई, लेकिन देर रात से झमाझम बारिश शुरू हो गई।

मंगलवार की सुबह 10 बजे तक गरज-चमक के साथ बारिश होती रही। बारिश के कारण शहर में कई जगह जलभराव हो गया। सुभाष नगर रेलवे पुलिया के नीचे जलभराव होने से लोगों को निकलने में परेशानी हुई। 

बरेली में शहर से देहात तक बारिश आफत बनकर बरसी। आंवला क्षेत्र की रामनगर पुलिस चौकी बारिश के पानी से जलमग्न हो गई। कस्बों में भी लोगों को जलभराव की समस्या से जूझना पड़ा। 

शाही क्षेत्र के गांव खजुरिया, लालपुर प्रेमपुर, दौली, खरसैनी, रमपुरा, सेवा ज्वालापुर, बुझिया, केसरपुर, नारा, फरीदापुर, महिमा नगला, डूंगरपुर, भमोरा, केरा, बगरऊ,गोहाना, शाहपुरा, तुरसा पट्टी, शाही, बसावन पुर, सुकटिया ,नगरिया सोबरनी, खाता, लमकन, विक्रमपुर आदि गांवों में बारिश से गेहूं, लाही, मसूर की फसलें पूरी तरह चौपट हो गई हैं। 

मीरगंज, हाफिजगंज और आंवला क्षेत्र में तेज हवा के साथ हुई बारिश किसानों के लिए आफत बन गई।  गेहूं और सरसों की फसल खेतों में ही बिछ जाने से अब यह फसल सड़ने और सरसों में कीड़ा लगने की आशंका है। फसल कटाई और गहाई का काम भी रुक गया है।